Lata Mangeshkar Demise के बाद Big Charity, Patients को मिला Free Treatment | Boldsky

  • 2 years ago
लेजेंड्री सिंगर लता मंगेशकर अब हमारे बीच नहीं हैं. उन्होंने जाते-जाते अपनी करोड़ों की दौलत अपनों के नाम कर दी. उन्होंने जीते जी कई जरूरतमंदों की मदद की और अब अपने जाने के बाद भी पिता के नाम से स्थाप‍ित अस्पताल में गरीबों की सेवा कर रही हैं. तब लता मंगेशकर के पास पैसे नहीं थे अस्पताल बनवाने के लिए लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी. उन्होंने खूब संघर्ष किया,अंतराष्ट्रीय क्रिकेट मैच, म्यूज‍िक कॉन्सर्ट से पैसे इकट्ठे किए. और फ‍िर 18 महीने में अस्पताल खड़ा हो गया. लता दीदी अस्पताल निर्माण के दौरान पुणे में अक्सर आया करती थीं. निर्माण साइट पर खुद जाती थीं, सुझाव देती थीं. उनकी जिद थी कि अस्पताल, अस्पताल की तरह नहीं लगना चाह‍िए. अस्पताल के ऊपर डॉम बनवाया ताकि सूरज की रोशनी पहले माले के फर्श तक पहुंचे. फर्श पर ब्लैक ग्रेनाइट लगवाया ताकि डॉम की प्रतिबिंब फर्श पर नजर आए.1942 में लता के पिता दीनानाथ मंगेशकर जब बीमार पड़े तब उन्हें सही इलाज नहीं मिला पाया था. पैसे कम होना भी एक वजह थी और इसलिए लता मंगेशकर की मां माई मंगेशकर ने इच्छा रखी कि पिता की याद में सुपर स्पेश‍ियल‍िटी अस्पताल का निर्माण हो. उनकी इच्छा थी क‍ि पिताजी की याद में पुणे में ही दीनानाथ मंगेशकर सुपर स्पेश‍ियल‍िटी अस्पताल का निर्माण हो और इसीलिए सन 2000 में अस्पताल का निर्माण शुरू हुआ. चैर‍िटेबल फाउंडेशन स्थापित करने के लिए उन्हें सरकार द्वारा चैर‍िटी वर्क के लिये जमीन और अस्पताल के निर्माण के लिए करोड़ों रुपये की आवश्यकता थी. इतना पैसा लता मंगेशकर के पास नहीं था लेकिन उनकी प्रबल इच्छाशक्ति उनके काम आई.चैरिटेबल अस्पताल होने के कारण साल भर बहुत ही सस्ते दर में गरीबों के लिए OPD की व्यवस्था की जाती है. अस्पताल के पहले पांच वर्ष सिर्फ 5 रुपये में गरीब परिवार के लोगों को OPD सेवा दी जाती थी और बाद में 10 वर्षों तक सिर्फ 10 रुपये में OPD का इलाज गरीबों को दिया गया.

Legendary singer Lata Mangeshkar is no more with us. He gave away his wealth of crores in the name of his loved ones. She helped many needy people alive and now even after her departure, she is serving the poor in the hospital established in the name of her father.On Monday, February 7, on the last day of Lata Mangeshkar, all the patients were treated free of cost in the OPD of the hospital. One day in a month, Dina and Kala Parv was started for the patients of the hospital. And in this way, at the behest of Didi, well-known artists present their art in this music festival of the hospital. Patients and their relatives are entertained by this concert on TV in their rooms free of charge. Lata didi used to present her art in herself and encourage patients by visiting their rooms.

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