क्या नई संसद भी बन पाएगी, देखिये कार्टूनिस्ट सुधाकर का अंदाज़.
  • 4 years ago
दिल्ली में संसद की नई इमारत बनाने का काम टाटा कंपनी को मिलने की संभावना है.कंपनी ने इसके लिए शुरुआती बोली जीत ली है. अधिकारियों ने बताया कि टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड ने बुधवार को 861.90 करोड़ रुपये की लागत से नया संसद भवन बनाने के लिए बोली लगाई. जबकि एक अन्य कंपनी एलएंडटी लिमिटेड ने 865 करोड़ रुपये की बोली पेश की थी.
टाटा ने इस काम के लिए लगभग 862 करोड़ की लागत बताई है जबकि एलएंडटी ने 865 करोड़ रुपये का खर्च बताया थ.
बुधवार को केंद्रीय लोक निर्माण विभाग (सीपीडब्ल्यूडी) ने वित्तीय बोली की शुरुआत की थी. टाटा की बोली कम है, इसलिए यह लगभग तय है कि संसद का निर्माण कार्य टाटा को मिलेगा.
संसद भवन की इमारत काफी पुरानी हो गई है.इसलिए सुरक्षा संबंधी खतरों को देखते हुए केंद्र सरकार ने संसद का नया भवन बनाने का फैसला किया है. सरकार ने इसके लिए मंजूरी दे दी है.
संसद की नई इमारत मौजूदा भवन के नजदीक ही बनाई जाएगी. नया भवन तो जल्द ही तैयार हो जाएगा ,मगर सवाल ये उठता है कि क्या एक नई संसद बनाने की पहल भी की जाएगी, जिसमें न हंगामा होगा, न नारेबाजी ,न अभद्र भाषा होगी और न ही आए दिन कामकाज बाधित होगा. जिसमें सिर्फ देश हित के फैसले लिए जाएंगे और राष्ट्र को आगे बढ़ाने के लिए नीतियां बनाई जाएंगी. जब तक ऐसा नहीं हो जाता सिर्फ नई इमारत बनाने से नागरिकों के जीवन पर कोई खास फर्क नहीं पड़ने वाला. देखिए इस मुद्दे पर कार्टूनिस्ट सुधाकर का नजरिया
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